श्री गुरुचरणकमलेभ्यो नमः
दिनांक 8 मार्च 2024 को श्री महाशिवरात्रि है इस दिन मध्य रात्रि 12:13 से 1:02 तक
(निशीथ काल ) की अवधि में चतुर्दशी तिथि है, जबकि अगले दिन 9 मार्च को सायं 06:19 तक ही चतुर्दशी तिथि रहेगी |
“सा ( शिवरात्रिः) निशीथ व्यापिनी ग्राह्य | ” (धर्मसिंधुः ) |
अतएव शुक्रवार को महाशिवरात्रि है, सायंकाल से लेकर अगले दिन सूर्योदय पर्यंत प्रत्येक चार प्रहर में भगवान शंकर की पूजन, पाठ, जाप, रुद्राभिषेक, आरती, जागरण एवं संकीर्तन आदि यथाशक्ति अवश्य करना चाहिए |
शास्त्रों में लिखा है कि फाल्गुन कृष्ण चतुर्दशी की रात्रि के समय भूत, प्रेत, पिशाच, शक्तियां तथा स्वयं शिवजी भ्रमण करते हैं अतः उस समय शिवजी की पूजन करने से मनुष्य के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं
“निशि भ्रमन्ति भूतानि शक्त्यः शूलभृद् यतः |
अतस्तस्या चतुर्दश्यां सत्यां तत्पुजनं भवेत् ||
सायंकाल सूर्यास्तकाल अर्थात 6:30 से प्रथम प्रहर प्रारंभ, रात्रि 9:34 से द्वितीय प्रहर प्रारंभ, मध्य रात्रि 12:38 से तृतीय प्रहर एवं अपर रात्रि 3:42 से चतुर्थ प्रहर प्रारंभ होकर सूर्योदय तक पूजन आदि करने की समय अवधि रहेगी, महाशिवरात्रि के पर्व पर जो लोग भगवान शिव जी की चारों पहर की पूजा करना चाहते हैं उन्हें रात्रि के पहले प्रहर में दूध, दूसरे प्रहर में दही, तीसरे प्रहर में घी और चौथे प्रहर में शहद से पूजन करना चाहिए, ध्यान रखें कि हर प्रहर में जल का प्रयोग अवश्य करें ऐसा करने से भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त होती है